विधवा भाभी की चुदाई

मेरा भाई बीमारी से मर गया और मेरी भाभी भाई के जाने के बाद उदास रहने लगी और मेरे से भाभी उदासी देखी नही जा रही थी एक दिन हम दोनों को करीब आने का मौका मिला …..

आज मै आपको बताओ गा की कैसे भाभी की उदासी को कैसे दूर किया

मेरा नाम सुनील है और मेरी उम्र 23 साल की है और हम दिल्ली के रहने वाले है और मै अपनी पढाई करने के लिया बाहर पढता था

यह एक सच्ची घटना है और यह आज से एक साल पहले की बात है

मेरे भाई की अभी अभी शादी हुई थी और मेरी भाभी का नाम पायल है और भाभी देखने में बहुत सुंदर थी और भाभी के बड़े बड़े बूब्स और बाहर निकली मोटी गांड को देखकर किसी का ही लंड सलामी देता था

भाभी और भाई बहुत खुश थे और वो अक्सर घुमने के लिए जाते थे और इनकी शादी को दो साल हो गये थे और मेरा भाई किरयाना की दुकान चलता था

भाई के अंदर कोई खरतनाक बीमारी थी और भाई ने घर में नही बताया था और आचानक ही भाई हमे छोड़ कर चले गये

भाई के जाने के बाद मुझे घर पर आना पड़ा और माँ ने कहा की अब पढाई बहुत हो गयी अब घर को संबाल और मेरे उपर घर की जिमेदारी पड़ गयी

अब भाई को 3 महीने हो गये थे अब मै दूकान को संबालने लगा पर भाई के जाने के बाद भाभी उदास रहने लगी

मेरे से भाभी उदासी देखि नही जा रही थी और मै भाभी को खुश रखने की कोशिस करने लगा

मै दूकान के आने के बाद भाई के साथ 2 -3 घंटे बाते करता था

एक दिन भाभी ने नाईटी पहन रखी थी और मैंने भाभी को जब नाईटी में देखा तो मेरा लंड खड़ा हो गया और नाईटी के अंदर भाभी के बूब्स साफ साफ़ दिखाई दे रहे थे मेरी भाभी को देखने की नजर बदल गयी और मेरे अंदर वासन आने लगी

अब भाभी मुझे बहुत सेक्सी लगने लगी मन करने लगा की भाभी को चोद दूँ अब भाभी मुझे चुदाई की मशीन दिखने लगी

भाभी के भरे बदन को देखकर मन में भाभी को चोदने को सोचने लगा

मै बेड पर बैठ गया और मेरी नजर भाभी के बड़े बड़े बूब्स पर ही थी भाभी ने कहा क्या हुआ देवर जी ऐसे क्या देख

मैंने कहा कुछ नही भाभी आप बहुत सुंदर लग रहे हो आप भाभी ने कहा रहने दो देवर जी फिर हम बाते करने लगे

आज भाभी का बातो को करने का तरीका बदला हुआ था लगता था की आज भाभी भी मुड में थी

मेरी नजर भाभी के बूब्स से हट ही नही रही थी भाभी ने क्या हुआ देवर जी कभी को लडकी नाईटी में नही देखी क्या

मैंने कहा भाभी आज आप बहुत सेक्सी लग रहे हो आपसे नजर हट ही नही रही

फिर मैंने कहा की भाभी कभी इतनी नजदीक से लडकी को नही देखा

भाभी ने हस कर कहा क्यों कोई गर्लफ्रेंड नही है क्या मैंने कहा नही भाभी मेरी कोई गर्लफ्रेंड नही है

भाभी ने कहा फिर कैसी चाहिए आपको लड़की मै भाभी की आँखों में देखकर कहा की भाभी आपकी जैसी

भाभी ने कहा मेरे में ऐसी क्या ख़ास बात है मैंने कहा आप बहुत सुंदर और क्योत और सेक्सी हो मुझे तो आपकी जैसी लडकी चाहिए

भाभी मेरी बात सुनकर रोने लगी और मैंने कहा सॉरी भाभी मैंने कुछ गलत बोल दिया हो तो भाभी ने कहा नही ऐसी बात नही है बस आपके भाई की याद आ गयी मेरी तो जिन्दगी खतम हो गयी

मैंने भाभी को गले लगाया और भाभी को छुप कराने लगा जैसे ही भाभी के बूब्स मेरे साथ चिपके मेरा भी मन खराब हो गया वही भाभी को शांत करने लगा भाभी छुप हो गयी पर मेरे से चिपकी हुई थी

अब भाभी गर्म गर्म साँसे निकाल रही थी और धीरे धीरे मेरी पीठ पर हाथ फेरने लगी और मुझे भी धीरे धीरे मुझे भी समझ आने लगा भाभी अब चुदना चाहती थी

जैसे ही भाभी को अपने सामने किया तो भाभी वासना भरी आँखों से मेरी आँखों में देख रही थी फिर हम दोनों धीरे धीरे करीब आने लगे और हम दोनों के मुंह में एक दुसरे की सांस आने जाने लगी और हम दोनों वासना में डूब चुके थे

अब हम दोनों के होठ के दुसरे से चिपक गये और भाभी मेरे होठो को चूसने लगी और मै भी भाभी के होठो को चूसने लगी हमे कुछ समझ नही आ रहा था

बस मस्त होकर एक दुसरे के होठो को चूस रहे थे वही में भाभी की गर्दन को चूमने गला और धीरे धीरे भाभी बेड पर लेट गयी और मैं भाभी के उपर भाभी के बदन को चूस रहा था फिर मै भाभी के बूब्स को दबाने लगा और भाभी ने भी मेरे लोअर के अंदर हाथ डाल लिया और मेरे लंड को सहलाने लगी

मैंने भाभी की नाईटी को उतारा और भाभी की ब्रा पहनी हुई थी मै भाभी की ब्रा के उपर से बूब्स को दबाने लगा वही भाभी ने भी मेरे लोअर को निचे कर दिया और मेरे अंडर वियर को निचे सरका दिया वही मैंने भी भाभी के ब्रा हुक खोल दिया और भाभी ने नंगे बूब्स को दबाने लगा

फिर मैंने भाभी के बूब्स की निपल अपने मुंह में ली और भाभी का दुध पिने लगा वही भाभी भी सिरहा उठी थी और भाभी धीरे धीरे अहह अहह जैसी मादक मादक आवजे अपने मुंह से निकाल रही थी

फिर मै दुसरे बूब्स को हाथ से दबाने लगा और फिर थोड़ी देर बाद मै भाभी की चूत की तरफ आया गया और जैसे ही भाभी की चूत को चाटने लगा भाभी ने वासना भरी आवाज़ में कहा देवर जी ऐसे ही करो और चूत चटवाने से मना कर दिया

मै अपने घुटनों के बल बैठा और लंड को हाथ में पकड़ा और भाभी की चूत पर रगड़ने लगा और धीरे धीरे भाभी की चूत पर लंड को सेट कर दिया

जैसे ही मैंने झटका मारा मेरा आदा लंड भाभी की चूत के अंदर चला गया और भाभी चिलाने लगी तो मैंने भाभी का मुंह बंद कर दिया और भाभी की अहह मुंह के अंदर ही दबा दी क्युकी घर पर मम्मी सो रही थी

फिर मैंने फिर से धक्का लगया और मेरा पूरा लंड चूत के अंदर घुस गया और मै लंड को धीरे धीरे अंदर बाहर करने लगा वही अब मेरे लंड ने चूत के अंदर अपनी जगह बना ली थी और भाभी को भी दर्द कम हो गया था और भाभी को भी मजे आ रहे थे वही मैंने भाभी के मुंह से हाथ को हटा लिया

भाभी ने मेरी गांड को पकड़ा और चूत के अंदर जोर जोर से झटके मरवाने लगी और मै भी भाभी को जोर जोर से चोदने लगा और थोड़ी देर बाद मेरा पानी भी निकल गया भाभी की चूत के अंदर और मै भी थक गया था

मै भाभी के बांहों में लेट गया और भाभी मुझे प्यार करने लगी

ऐसे मैंने पूरी रात भाभी की चुदाई की अब मुझे जब भी मौका मिलता तो मै भी भाभी को चोद देता और भाभी को घर मै ही लंड मिलने लग गया

अब धीरे धीरे भाभी की सारी उदासी कम हो गयी और मुझे भी घर मै चूत की मशीन मिल गयी और अब भाभी खुश रहने लगी

ऐसे मैंने भाभी की उदासी को दूर किया और भाई की कमी को पूरा किया और हभी भी मुहे मन में पति मान चुकी थी पर मुझे तो भाभी की चूत से मतलब था

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