पापा ने किरायेदार आंटी की गांड को चोदा

पापा ने मुझे आंटी की चुदाई करते देख लिया, और पापा को देखते ही मैंने अपने कपड़े पहन लिए ,और कमरे से बाहर आ गया| और छुप कर खिड़की से देखने लगा आंटी अभी भी बेड पर नंगी लेती हुई थी, और आंटी को नंगी देखकर पापा का भी मन बदल गया और पापा जाकर बेड पर बैठ गये |

इस कहानी को विस्तार से बताता हूँ |

मेरा नाम रोहित है, आपने पढ़ा होगा मेरी पहली कहानी में की मै आंटी के कमरे मै सोने कई लिए चला गया, और आंटी के बदन को देख कर अपना आपा खो बैठा आंटी की गांड पर लंड रगड़ने लगा वही आंटी भी जाग गयी |

मैंने आंटी को गर्म करने लगा ,और आंटी भी मेरे से चुदने कई लिए तयार हो गयी और मै आंटी को जोर जोर से चोद रहा था जिससे पट पट की जोर जोर से आवजे आने लगी और आवजे सुनकर पापा आंटी के कमरे की तरफ आ गये आपको इस कहानी में बताऊंगा की फिर क्या हुआ|

जैसे ही मैंने पापा को कमरे के अंदर देखा तो बहुत डर गया और जल्दी से अपने कपड़ो को पहना और कमरे से बाहर जाने लगा जैसे पापा मुझे कुछ कहने लगे आंटी ने कहा रोहित को कुछ मत खो वो तो बच्चा है |

इसमें मेरी गलती है और मै जल्दी से कमरे से बाहर आ गया पर निचे नही गया और खिड़की से देखने लगा की अंदर क्या हो रहा है|

आंटी ने कहा की राज जी मेरी गलती है मुझे माफ करना मै वासना में डूब गयी थी, क्युकी मै भी ओरत हूँ और मुझे भी लंड की जरूरत है पापा कुछ नही बोल रहे थे बस आंटी को देखे जा रहे थे |

आंटी अभी तक बेड नंगी ही लेती हुई थी और पापा का भी मन खराब होने लगा आंटी के बड़े बड़े बूब्स और गर्म गर्म चूत को देखकर और पापा का लंड भी खड़ा हो गया था|

पापा आंटी के पास बेड पर चले गये और आंटी का हाथ अपने हाथ में पकड़ कर कहने लगे मै हूँ ना |

आज से तेरी चूत कि आग को मै शांत किया करोंगा और आज से तो मेरी रखेल है आंटी ने कहा जान बस मुझे कबी धोखा मत देना आज से ये जिसम तेरे हवाले |

जब आंटी ने ऐसे कहा पापा से तो पापा आंटी के होठो को चूसने लगे और आंटी भी चूसने लगी |

मुझे बहुत मजा आ रहा था देखने मै ,इतना चूत लेने मै मजा नही है जितना दुसरो की चुदाई देखने मै है |

पापा आंटी के होठो को चूसते चूसते आंटी के बूब्स को मसलने लगे फिर पापा ने आंटी के होठो को छोड़ा और बूब्स के दुध को पिने लगे वही आंटी की भी तम्मना पूरी हो रही थी और आंटी पापा की पीठ को सहलाने लगी और साथ में पापा के पुरे कपड़े उतार दिए |

आंटी ने पापा के लंड को हाथ में पकड़ा और हिलाने लगे और धीरे धीरे अपनी जीभ से इसक्रीम की तरहा चाटने लगी और पापा से रहा नही गया और लास्न्द को मुंह के अंदर डाल कर अंदर बहार करने लगे |

वही आंटी भी लोलीपोप की तरहा लंड को चूसने लगी और पापा का तो आंटी ने चूस चूस कर मजा बाहर निकाल दिया पर अभी तक आंटी की लंड की प्यास कहा पूरी हुई थी |

आंटी लगातार पापा के लंड को चुसे जा रही थी पापा बोले छोड़ दे साली अब तो डिल्ला हो गया है पर आंटी लंड चुसे जा रही थी और थोड़ी देर बाद पाप का भी फिर मुड बन गया और आंटी को अहसास हुआ की लंड फिर से कडक हो गया है आंटी ने अपने मुंह से लंड को बाहर निकाला और लंड को पूरा गिला कर दिया|

फिर पापा ने आंटी को घोड़ी बनाया और चूत पर लंड को सेट करके चोदने लगे और जोर जोर से धक्के देने लगे पर पापा वो मजा नही आ रहा था पापा को महसूस नही हो रहा था की चूत के अंदर लंड है या नही तो पापा करीब 10 मिनट चोदने के बाद अपने लंड को चूत से बाहर निकाला

आंटी ने कहा -क्या हुआ जान बाहर कैसे निकाला अभी बस थोड़ी देर में मेरा पानी निकलने वाला है |

पापा ने कहा -मुझे मजा नही आ रहा अब मै तेरी गांड को चोदो गा |

आंटी -नही जान अभी तक मैंने कभी अपनी गांड को नही चोदने दिया है तेरा मोटा लंड मेरे छेद को बड़ा कर देगा

पापा ने आंटी की एक नही सुनी और अपने मुंह से थूक निकाली और आंटी की गांड पर लगा दी और लंड को गांड पर रगड़ने लगे वही आंटी बार बार गांड पर हाथ रख रही थी पापा ने आंटी को कसकर पकड़ा और गांड पर लंड को सेट कर दिया

जैसे ही गांड पर पापा ने धक्का लगाया आंटी की जोर से चीख निकल गयी अहह… माँ .. मर गयी …..राज जी ..गांड फाड़ दी आपने … बहुत दर्द हो रहा है …बाहर निकालो प्लीज् ना ….

पापा कहा निकलने वाले थे बस कहा बस दो मिनट दर्द कम हो जाए गा पर आंटी की तो जान निकल रही थी ईईई …….फिर आंटी हिलने लगी और लंड को बाहर निकलने की कोशिस करने लगी पर पापा ने भी कसकर पकड़ा रखा था

जैसे ही आंटी थोडा शांत हुई पापा ने फिर जोर से झटका मार डाला और अपने लंड को पूरा ही गांड में दाल दिया आंटी अह्ह्ह आःह आघ्ह मार दिया जैसी मादक मादक आवजे निकालने लगी मुझे दर्द भरी आवजे सुनकर बहुत मजा आ रहा था और मेरा भी लंड खड़ा हो गया और इनकी चुदाई को देखते देखते मै मुठ मारने लगा

वही पापा अपने लंड को धीरे धीरे अंदर बाहर करने लगे और लंड ने भी गांड में समाने लगा और आंटी का दर्द भी मजे में बदल गया जैसे आंटी चिलाना धीरे कर रही थी वैसे वैसे पापा चोदने की रफ़्तार को बड़ा रहे थे और वही मेरा भी मजा निकल गया और पापा का भी डिल्ला हो गया और आंटी भी झड़ गयी

अब माँ बेटी मेरे और पापा की रखले बन गयी थी हमारा जब भी मन होता तो हम दोनों माँ बेटी को चोद देते

आपको कैसे लगी कहानी और मुझे विस्वाश है की कहानी पढ़ कर आपका भी पानी निकल गया होगा

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